भारत में ‘मेक इन इंडिया’ और विभिन्न क्षेत्रों के लिए उत्पादन लिंक प्रोत्साहन PLI (Production-Linked Incentive) योजनाएं विदेशी निवेशकों को यहां उद्योग स्थापित करने के लिए आकर्षित कर रही हैं. यह बात उद्योग मंडल CII (Confederation of Indian Industry ‘भारत का प्रमुख उद्योग संघ ने कही है’)
आपको बता दें कि वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल को 5 नवंबर को लिखे गए एक पत्र में CII के महानिदेशक चंद्रजीत बनर्जी ने कहा कि सरकार द्वारा बुनियादी ढांचे जैसे सड़क, रेलवे और बंदरगाहों में किए गए निवेश से घरेलू उद्योग को प्रतिस्पर्धी बनाने में मदद मिल रही है.
CII के मुताबिक पत्र में कहा गया कि भारत में नीति परिवर्तन ऐसे समय में हुआ है, जब वैश्विक भू-राजनीतिक परिस्थितियां भारत के पक्ष में हो गई हैं, और कई वैश्विक कंपनियां अपनी भौगोलिक आधारों को विविधित करने की योजना बना रही हैं।
CII के मुताबिक पत्र में यह भी कहा गया कि “FDI (प्रत्यक्ष विदेशी निवेश) प्रवाह 2014-15 में 45.14 बिलियन डॉलर से बढ़कर 2023-24 में 70.95 बिलियन डॉलर हो गया है. जो भारत में निवेशकों के बढ़ते रुचि को दर्शाता है.” इसके साथ ही PLI योजनाओं ने भारी निवेश आकर्षित किए हैं.
CII ने यह भी उल्लेख किया कि भारत की विनिर्माण क्षमताएं जैसे कि ऑटो, इलेक्ट्रॉनिक्स, मशीनरी, रसायन, शिपिंग, रेलवे और अन्य क्षेत्रों में तेजी से बढ़ रही हैं.
पत्र में कहा गया, “आप (मंत्री) ने ‘मेक इन इंडिया’ पहल के प्रत्येक घटक को बेहतरीन तरीके से संबोधित किया है, चाहे वह कारोबार करने में आसानी हो, लॉजिस्टिक्स और कनेक्टिविटी, निवेश प्रोत्साहन या बाहरी जुड़ाव, आपके द्वारा किए गए उपायों में गहरी समझ, नवाचारी नीतियां और शानदार कार्यान्वयन देखने को मिला है।”