बिहार विधानसभा चुनाव के पहले चरण के लिए नामांकन दाखिल करने की प्रक्रिया शुक्रवार को समाप्त हो गई। इस दौरान सत्तारूढ़ राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) का आत्मविश्वास स्पष्ट नजर आया, वहीं विपक्षी ‘इंडिया’ गठबंधन में सीटों के बंटवारे को लेकर उलझन बनी रही। निर्वाचन आयोग के अनुसार, पहले चरण के 121 विधानसभा क्षेत्रों के लिए अब तक 1,250 से अधिक उम्मीदवारों ने नामांकन दाखिल किया है, और यह संख्या और बढ़ सकती है।
‘इंडिया’ गठबंधन के भीतर कई सीटों पर एक से अधिक उम्मीदवारों ने नामांकन किया है, जिससे ‘फ्रैंडली फाइट’ की संभावना जताई जा रही है। खासकर राजद, कांग्रेस और अन्य घटक दलों के बीच सीटों के बंटवारे को लेकर असमंजस की स्थिति बनी हुई है। उदाहरण के तौर पर, जाले सीट पर कांग्रेस ने राजद नेता ऋषि मिश्रा को अपना उम्मीदवार बना दिया, जबकि लालगंज सीट पर दोनों दलों के उम्मीदवार मैदान में हैं।
राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के नेता तेजस्वी यादव लगातार तीसरी बार राघोपुर सीट से चुनावी मैदान में हैं। वहीं, वीआईपी प्रमुख मुकेश सहनी इस बार चुनाव नहीं लड़ रहे, लेकिन उनकी पार्टी गठबंधन में उपमुख्यमंत्री बनने की उम्मीद जताए हुए हैं।
उधर, NDA में बीजेपी और जद(यू) के बीच सीटों का बंटवारा अब तक 101-101 पर सहमति बन चुकी है। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने रैलियों और जनसभाओं में भाजपा के उम्मीदवारों के समर्थन में प्रचार किया और राजद को आगामी चुनावों में हराने की अपील की।
वहीं, विपक्षी गठबंधन की अंदरूनी उहापोह और सीटों के बंटवारे की समस्याओं से चुनावी स्थिति में उत्सुकता बनी हुई है।