साइप्रस में दो दशकों बाद भारतीय PM, मिला सर्वोच्च नागरिक सम्मान
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 20 वर्षों बाद साइप्रस की यात्रा कर भारत-साइप्रस संबंधों में एक नया अध्याय जोड़ा। उन्हें वहां के राष्ट्रपति निकोस क्रिस्टोडूलाइड्स ने Grand Cross of the Order of Makarios III से सम्मानित किया। यह सम्मान दोनों देशों के आपसी विश्वास और सहयोग का प्रतीक बना।
साइप्रस, भारत के India-Middle East-Europe Corridor (IMEC) का एक महत्वपूर्ण केंद्र है। प्रधानमंत्री मोदी की यह यात्रा चीन की बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव (BRI) के विरुद्ध भारत की वैकल्पिक रणनीति को मजबूती देती है।
तुर्की और पाकिस्तान को कूटनीतिक संदेश
साइप्रस दौरे के माध्यम से भारत ने उन देशों को भी स्पष्ट संदेश दिया जो सीमाओं का उल्लंघन कर क्षेत्रीय अस्थिरता को बढ़ावा देते हैं। उत्तरी साइप्रस पर तुर्की के कब्जे और पाकिस्तान को समर्थन देने की पृष्ठभूमि में भारत-साइप्रस नजदीकी महत्वपूर्ण मानी जा रही है।
कनाडा में G-7 सम्मेलन में भारत का प्रभावशाली नेतृत्व
अल्बर्टा के कनानास्किस में हुए 51वें G-7 शिखर सम्मेलन में प्रधानमंत्री मोदी ने Global South की आवाज को मजबूती से उठाया। उन्होंने समावेशी तकनीकी ढांचे, न्यायसंगत जलवायु वित्तपोषण और ऊर्जा सुरक्षा जैसे विषयों पर दुनिया का ध्यान खींचा।
कनाडाई प्रधानमंत्री मार्क कार्नी से हुई द्विपक्षीय बातचीत में दोनों देशों के राजनयिक संबंधों को पुनर्स्थापित करने पर सहमति बनी। यह भारत-कनाडा संबंधों में एक नया मोड़ माना जा रहा है।
प्रवासी भारतीयों से संवाद, भारतीय संस्कृति का उत्सव
कैलगरी और ब्रैम्पटन में 15 लाख प्रवासी भारतीयों ने मोदी का अभूतपूर्व स्वागत किया। मोदी ने उन्हें भारत के “वैश्विक राजदूत” बताया और डिजिटल इंडिया, स्टार्टअप इंडिया और Make in India जैसे अभियानों में उनकी भूमिका की सराहना की।
क्रोएशिया में पहली बार पहुंचे भारतीय प्रधानमंत्री
क्रोएशिया में भारतीय प्रधानमंत्री की यह पहली ऐतिहासिक यात्रा थी। राष्ट्रपति जोरान मिलानोविच और प्रधानमंत्री आंद्रेज प्लेनकोविच से मुलाकात में व्यापार, निवेश, तकनीक और यूरोपीय सहयोग पर अहम समझौते हुए। यह यात्रा बाल्कन क्षेत्र में भारत की रणनीतिक उपस्थिति को मजबूत करती है।
सुरक्षा, कूटनीति और संस्कृति का संयोजन
तीनों देशों में मोदी ने भारत की आतंकवाद-विरोधी नीति को स्पष्ट करते हुए Operation Sindoor के बाद की निर्णायक भूमिका को साझा किया। भारत की शांति और शक्ति का संदेश पूरी दुनिया तक पहुंचा।