उत्तर प्रदेश में विधानसभा के शीतकालीन सत्र के दौरान योगी सरकार के मंत्री आशीष पटेल पर विधायक पल्लवी पटेल ने गंभीर आरोप लगाए हैं। पल्लवी पटेल ने कहा योगी के मंत्री आशीष पटेल के पास जिस विभाग का जिम्मा है उसमें आरक्षण को लेकर बड़ा घोटाला हुआ है। प्राविधिक शिक्षा विभाग में विभागाध्यक्ष के पदों पर नियुक्ति में हेरफेर का गंभीर आरोप लगाया है। 2017 के सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद से उत्तर प्रदेश चयन सेवा आयोग के तहत भर्ती होती है, लेकिन अभ्यर्थियों की हकमारी कर पदोन्नति के आधार पर पद भर दिए गए है। उन्होंने आरोप लगाया गया है कि इसके लिए प्रत्येक व्यक्ति से 25-25 लाख रुपये की धन उगाही की गई है।

पल्लवी पटेल के इस आरोप पर योगी सरकार में मंत्री आशीष पटेल की प्रतिक्रिया आयी है। उन्होंने सोशल मीडिया साइट पर लिखा कि मैं विधायक योगेश वर्मा नही हूं जो थप्पड़ खाने और अपमानित होने के बावजूद चुप रह गए किसी मजबूरी के चलते। धरनरत विधायक के साथ बैठे और किसी बाहरी व्यक्ति से लगातार निर्देश प्राप्त कर रहे दो व्यक्ति कौन थे। आशीष पटेल ने पुलिस अधिकारियों पर भी सवाल उठाया है। विधानसभा में परिंदा भी पैर नही मार सकता उस दिन रात में विधानसभा में मौजूद थे बाहरी लोग।

आशीष पटेल ने आगे कहा कि साजिशों के जाल बुनते रहिए, मैं डरने वालों में नहीं हूं। धरनारत विधायक के साथ धरने पर बैठे और किसी बाहरी व्यक्ति से लगातार निर्देश प्राप्त कर रहे दो व्यक्ति कौन थे, जो उस समय देर रात राज्य के सबसे सुरक्षित परिसर विधानसभा में मौजूद थे, जहां सदन की कार्यवाही खत्म होने के बाद परिंदा भी पर नहीं मार सकता? किस पुलिस अधिकारी ने सारे नियमों को ताक पर रख कर इन्हें विधानसभा परिसर में आने की अनुमति दी?

उन्होंने आगे कहा कि 1700 करोड़ के बजट वाले राज्य के सूचना विभाग का काम माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदीजी और माननीय मुख्यमंत्री योगी आदित्यानाथजी की अगुवाई वाली सरकारों की नीतियों, कार्यक्रमों की जानकारी आम जनमानस तक पहुंचाने की है। हालांकि विभाग के छोटे अधिकारी इसका उपयोग कर अपनी ही सरकार के मंत्रियों के मान मर्दन और चरित्र हनन में जुटे हैं। क्या इनका काम मंत्रियों पर झूठे आरोपों को रोकने के बजाय शह देना और अधूरे तथ्यों को उपलब्ध कराकर भ्रम पैदा कर खिलाफ में खबरें छपवाना है?

साजिश रचने वाले समझ लें, मैं माननीय विधायक योगेश वर्मा नहीं हूं, जो थप्पड़ खाने और अपमानित होने के बावजूद किसी मजबूरी में चुप रह गए। मैं सरदार पटेल का वंशज हूं। डरना नहीं मुकाबला करना मेरी फितरत में है। कोई कंकड़ फेंकेगा तो जवाब पत्थर से मिलेगा। एक बात और, कितनी भी साजिश रचें, चरित्रहनन की कोशिश करें, अपना दल (एस) सामाजिक न्याय से जुड़े मामले उठाते रहेगा। चाहे जो भी कीमत चुकानी पड़े, सामाजिक न्याय की आवाज बंद नहीं होगी। चाहे 69 हजार शिक्षक भर्ती में गड़बड़ी का मामला हो या ऐसे ही अन्य मामले ।हमारी पार्टी ने पूरी ताकत से अपनी बात रखी है और आगे भी उसी मजबूती से अपनी बात रखेंगे।

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