New Delhi: ऐसे समय में जब वैश्विक स्तर पर आर्थिक अनिश्चितता और भू-राजनीतिक तनाव बना हुआ है, भारत की अर्थव्यवस्था “स्वीट स्पॉट” में दिखाई दे रही है। महंगाई नीचे, निर्यात में बढ़ोतरी, बैंकिंग सेक्टर की अच्छी सेहत, और वित्तीय बाजारों में तेजी जैसे संकेतों ने भारत को वैश्विक परिदृश्य में मजबूती से खड़ा किया है।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने एक विशेष साक्षात्कार में कहा कि प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में बीते 11 सालों में केंद्र सरकार ने हर बजट में व्यवसायों को सहारा देने वाली ठोस नीतियां बनाईं, जिसका लाभ आज एमएसएमई और निर्यात-आधारित उद्योगों को मिल रहा है।
MSMEs और निर्यात में नई ऊर्जा
सीतारमण ने यह भी कहा कि यदि वैश्विक परिस्थिति इतनी चुनौतीपूर्ण न होती, तो भारत का निर्यात इतना अच्छा प्रदर्शन नहीं करता। इसका साफ मतलब है कि नए बाजारों की पहचान और सरकारी योजनाओं की प्रासंगिकता रंग ला रही है।
बैंकिंग सेक्टर की भूमिका अहम
उन्होंने बताया कि बैंकों के पास पर्याप्त नकदी उपलब्ध है और वे क्रेडिट डिमांड को सपोर्ट कर रहे हैं।
अच्छी बारिश से बढ़ेगी कृषि और ग्रामीण मांग
सीतारमण ने देशभर में सकारात्मक मानसून की भी सराहना की, जिससे कृषि क्षेत्र में सुधार की उम्मीद है। जलाशय भरने से सिंचाई में मदद मिलेगी, और ग्रामीण मांग को भी बढ़ावा मिलेगा।
पीएलआई स्कीम से मिल रहा है भारत को लाभ
उन्होंने कहा कि PLI (Production Linked Incentive) स्कीम ने यह दिखा दिया है कि यदि योजनाएं सही ढंग से बनाई जाएं, तो भारत मैन्युफैक्चरिंग और निर्यात हब बन सकता है।