नई दिल्ली : पार्टी मुख्यालय में हुई एक प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए आम आदमी पार्टी के दिल्ली प्रदेश संयोजक सौरभ भारद्वाज ने कहा कि सब लोग जानते हैं, जब से दिल्ली में भाजपा की सरकार बनी है, सरकार बनते ही दिल्ली के सभी प्राइवेट स्कूलों ने अपनी फीस बढ़ा दी। उन्होंने कहा कि जब इन बढ़ी हुई फीस के खिलाफ बच्चों के अभिभावकों ने आवाज उठाई और आम आदमी पार्टी ने प्रेस कांफ्रेंस के माध्यम से इस मुद्दे को उठाया, तब जाकर दिल्ली की भाजपा सरकार की नींद खुली। सौरभ भारद्वाज ने कहा कि जनता के विरोध के कारण दिल्ली की भाजपा सरकार ने आनन फानन में कुछ बड़ी-बड़ी बातें कह दी। उन्होंने कहा कि दिल्ली की भाजपा सरकार ने इस संबंध में यह ऐलान किया कि हम दिल्ली के सभी प्राइवेट स्कूलों का एसडीएम के द्वारा ऑडिट कराएंगे और 15 दिन के भीतर ऑडिट रिपोर्ट सार्वजनिक की जाएगी। सौरभ भारद्वाज ने कहा कि 14 दिन का समय बीते हुए भी बहुत दिन हो चुके हैं, परंतु अभी तक कोई भी ऑडिट रिपोर्ट भाजपा की दिल्ली सरकार की ओर से सार्वजनिक नहीं की गई।
सौरभ भारद्वाज ने कहा कि डीपीएस स्कूल द्वारका लगातार बढ़ी हुई फीस भरने के लिए बच्चों पर दबाव बना रहा था। बच्चों को प्रताड़ित कर रहा था। जिन बच्चों के माता-पिता ने बढ़ी हुई फीस नहीं दी उनके बच्चों को कक्षा में नहीं बैठने दिया जा रहा था। उनको कई दिनों से लाइब्रेरी में बैठाकर प्रताड़ित किया जा रहा था। इस पर दिल्ली सरकार ने डीएम के अधीन जांच के लिए एक कमेटी का गठन किया। गठित कमेटी ने भी डीएम की अध्यक्षता में यह रिपोर्ट सरकार को प्रस्तुत की, कि डीपीएस स्कूल द्वारका बच्चों को प्रताड़ित कर रहा है। परंतु दिल्ली की भाजपा सरकार ने यह भी केवल एक नौटंकी मात्रा ही किया था। डीएम द्वारा रिपोर्ट देने के बावजूद भी दिल्ली की भाजपा सरकार ने डीपीएस स्कूल द्वारका पर किसी प्रकार की कोई कार्रवाई नहीं की। सौरभ भारद्वाज ने कहा कि दिल्ली की भाजपा सरकार की इसी लापरवाही का यह नतीजा निकला, कि कल डीपीएस स्कूल द्वारका ने ऐसे 34 बच्चों का नाम काटकर स्कूल से निकाल दिया जिन्होंने बढ़ी हुई फीस देने से इनकार किया था। उन्होंने बताया कि बच्चे जब सुबह स्कूल बस में बैठकर स्कूल पहुंचे तो स्कूल के गेट से ही उन्हें वापस स्कूल बस में बैठा दिया गया और कह दिया गया, कि इन्हें इनके घर वापस छोड़ आओ इनके नाम स्कूल से काट दिए गए हैं।
सौरभ भारद्वाज ने कहा कि डीपीएस स्कूल द्वारका बहुत महंगे स्कूलों की गिनती में आता है। इस स्कूल में अपर मिडिल क्लास वर्ग के बच्चे पढ़ते हैं। आज दिल्ली में भाजपा की सरकार स्थापित होने के बाद यह स्थिति हो गई है की गरीब व्यक्ति तो छोड़ो अपर मिडिल क्लास वर्ग के लोगों के बच्चों को भी स्कूल द्वारा धमका कर उनका नाम काटकर स्कूल से भगा दिया गया। सौरभ भारद्वाज ने कहा कि दिल्ली में 10 साल तक अरविंद केजरीवाल जी की सरकार रही। कभी किसी प्राइवेट स्कूल की हिम्मत नहीं हुई, कि वह मनमाने तरीके से फीस बढ़ा सके और किसी बच्चे को इस प्रकार से प्रताड़ित कर उसका नाम काटकर स्कूल से निकल सके। उन्होंने कहा कि यह केवल डीपीएस द्वारका स्कूल के 34 बच्चों का मामला नहीं है। दिल्ली के लगभग सभी स्कूलों ने अपनी फीस बढ़ा दी है और सभी स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चों के अभिभावक परेशान है। या तो अभिभावकों ने थक हार कर बढ़ी हुई फीस स्कूल को दे दी और जिन अभिभावकों ने बढ़ी हुई फीस नहीं दी स्कूल उनके बच्चों को प्रताड़ित करता है, क्लास टीचर रोजाना सभी बच्चों के सामने क्लास में बच्चे को खड़ा करके उसको बेइज्जत करते हैं, उसको अपमानित करते हैं।
सौरभ भारद्वाज ने कहा, कि शिक्षा मंत्री और मुख्यमंत्री ने यह ऐलान किया था, कि हम सभी प्राइवेट स्कूलों का ऑडिट करेंगे। यदि आपने ऑडिट कर लिया है तो अभी तक ऑडिट की रिपोर्ट सार्वजनिक क्यों नहीं की गई और जिन स्कूलों में अनियमितताएं पाई गई उनके खिलाफ दिल्ली सरकार ने अब तक क्या कार्रवाई की? सौरभ भारद्वाज ने कहा, कि आखिरकार दिल्ली की भाजपा सरकार इस ऑडिट रिपोर्ट को क्यों छुपा रही है? स्कूलों द्वारा की जा रही चोरी को क्यों छुपा रही है? मीडिया के माध्यम से सरकार की मंशा पर प्रश्न उठाते हुए सौरभ भारद्वाज ने कहा, कि आखिर प्राइवेट स्कूलों के साथ दिल्ली की भाजपा सरकार की ऐसी क्या सांठ गांठ हुई है, कि दिल्ली की भाजपा सरकार प्राइवेट स्कूलों के खिलाफ कोई एक्शन लेने को तैयार नहीं है। सौरभ भारद्वाज ने कहा ऐसा केवल इसीलिए हो रहा है क्योंकि दिल्ली की भाजपा सरकार प्राइवेट स्कूलों के साथ मिली हुई है। उन्होंने कहा कि प्राइवेट स्कूलों के संगठन के अध्यक्ष भरत अरोरा दिल्ली की भाजपा सरकार की दिल्ली कार्यकारिणी में बड़े पद पर आसीन हैं। उन्होंने कहा कि जब प्राइवेट स्कूलों कि संगठन के अध्यक्ष ही भाजपा की प्रदेश कार्यकारिणी में बैठे हैं तो दिल्ली की भाजपा सरकार प्राइवेट स्कूलों के खिलाफ कार्रवाई कैसे कर सकती है।
सौरभ भारद्वाज ने कहा कि भाजपा के राज में हालात इतने बदतर हो गए हैं की डीपीएस स्कूल द्वारका ने बच्चों के नाम तो काटे ही साथ ही साथ स्कूल के गेट के बाहर बच्चों के अभिभावकों को धमकाने के लिए बाउंसरों को तैनात कर दिया। सौरभ भारद्वाज ने कहा यह बड़े ही शर्म की बात है, कि दिल्ली में इतनी बड़ी घटनाएं हो रही है और आज अंग्रेजी के बड़े-बड़े अखबार इस खबर को छापने के लिए तैयार नहीं है। उन्होंने कहा कि डीपीएस स्कूल द्वारका और इसी प्रकार के अन्य प्राइवेट स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चे उन्हीं अपर मिडिल क्लास परिवारों से आते हैं, जो लोग इन अंग्रेजी अखबारों को पढ़ते हैं। सौरभ भारद्वाज ने कहा, कि यह बड़े-बड़े अंग्रेजी अखबार न केवल देश की जनता के साथ बल्कि अपने उन पाठकों के साथ भी धोखा कर रहे हैं जो इन्हें नियमित तौर से पढ़ते आ रहे हैं।