Karnataka Woman Exploitation Case. जनता दल (सेक्युलर) के निष्कासित नेता और लोकसभा के पूर्व सांसद प्रज्जवल रेवन्ना को एक विशेष अदालत ने बलात्कार के मामले में दोषी करार दिया है। अदालत ने 1 अगस्त को यह फैसला सुनाया। दोष सिद्ध होने के बाद अदालत में पहली बार अपनी चुप्पी तोड़ते हुए रेवन्ना ने खुद को कम उम्र में मिली शक्ति और जिम्मेदारियों का शिकार बताया और न्यायालय से कम सजा देने की अपील की।

प्रज्जवल रेवन्ना ने कोर्ट में कहा मेरी एक गलती मुझ पर भारी पड़ गई। मैं बहुत कम उम्र में बहुत तेजी से आगे बढ़ गया। अदालत से निवेदन है कि मुझे कम से कम सजा दी जाए। उन्होंने आगे कहा मैं पिछले छह महीनों से अपने परिवार से नहीं मिला हूं। मेरी कोई महिला शिकायतकर्ता अपनी मर्जी से सामने नहीं आई। चुनाव से छह दिन पहले ये शिकायतें दर्ज कराई गईं। अभियोजन पक्ष ने उन्हें जानबूझकर सामने लाया।

दोष सिद्ध होते ही रो पड़े रेवन्ना

सूत्रों के अनुसार जैसे ही कोर्ट ने रेवन्ना को दोषी ठहराया, वह फूट-फूट कर रोने लगे। उन्होंने दावा किया कि इस मामले में उन्हें राजनीतिक साजिश का शिकार बनाया गया है। रेवन्ना ने यह भी आरोप लगाया कि अभियोजन पक्ष ने जानबूझकर महिलाओं को उकसाया और मामला दर्ज कराया।

किस मामले में दोषी ठहराए गए प्रज्जवल रेवन्ना?

1 अगस्त को जिस मामले में रेवन्ना को दोषी ठहराया गया, वह 48 वर्षीय एक महिला से संबंधित है, जो उनके हासन जिले स्थित गन्निकाडा फार्महाउस में घरेलू सहायिका के रूप में काम करती थी। पीड़िता के अनुसार, 2021 में उसके साथ दो बार लात्कार किया गया और इन कृत्यों का वीडियो भी बनाया गया।

महिला ने अपनी शिकायत में यह भी कहा कि उसे डराया गया और मानसिक रूप से प्रताड़ित किया गया। इसके बाद उसने साहस जुटाकर शिकायत दर्ज करवाई। मामले की सुनवाई के दौरान कोर्ट में पर्याप्त डिजिटल और मौखिक साक्ष्य पेश किए गए, जिनके आधार पर रेवन्ना को दोषी ठहराया गया।

चार केस, पहला फैसला

बता दें कि प्रज्जवल रेवन्ना के खिलाफ कुल चार अलग-अलग महिलाओं ने बलात्कार और यौन शोषण के आरोप लगाए हैं। यह पहला मामला है जिसमें अदालत ने उन्हें दोषी ठहराया है। बाकी मामलों की सुनवाई अभी जारी है।

राजनीतिक करियर और विवाद

प्रज्जवल रेवन्ना, कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री एचडी कुमार स्वामी के भतीजे और एचडी रेवन्ना के बेटे हैं। 2019 में हासन से लोकसभा सांसद बने थे। लेकिन 2024 के लोकसभा चुनावों के दौरान और ठीक पहले उन पर कई महिलाओं द्वारा यौन शोषण और बलात्कार के आरोप लगाए गए, जिससे पार्टी ने उन्हें निष्कासित कर दिया।

रेवन्ना का यह मामला कर्नाटक की राजनीति में एक बड़ा भूचाल लेकर आया था। कांग्रेस और बीजेपी दोनों दलों ने इस मुद्दे पर जेडीएस को घेरा था। चुनाव आयोग ने भी कई वीडियो सबूतों और शिकायतों के आधार पर जांच तेज कर दी थी।

न्याय की अगली प्रक्रिया और सजा

अब अदालत द्वारा सजा पर बहस होगी, जिसके बाद सजा की घोषणा की जाएगी। माना जा रहा है कि अगर इस मामले में अधिकतम सजा दी गई, तो रेवन्ना को लंबे समय तक जेल में रहना पड़ सकता है। फिलहाल उन्हें न्यायिक हिरासत में रखा गया है।

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